सिद्धारमैया कैबिनेट का फैसला धर्मांतरण रोकथाम कानून को निरस्त किया जाना एवं संघ के संस्थापक डॉ हेडगेवार से जुड़े सभी अध्याय पाठ्यक्रम से बाहर करना लोकतंत्र के विरुद्ध है
भिण्ड। भाजपा प्रदेश कार्यसमिति सदस्य डॉ रमेश दुबे ने कर्नाटक की कांग्रेस सरकार द्वारा लिए गए निर्णयों के विरुद्ध बयान जारी करते हुए कहा है कि कर्नाटक में कांग्रेस की सिद्धारमैया कैबिनेट सरकार का असली चेहरा सामने आ गया। कर्नाटक में बढ़ रहे धर्मांतरण को रोकने के लिए भाजपा सरकार ने कानून बनाया था जिसे कांग्रेस सरकार द्वारा वापस लेना और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के संस्थापक डॉक्टर हेडगेवार जी से जुड़े सभी अध्याय कर्नाटक के पाठ्यक्रम से बाहर करने का निर्णय कांग्रेस की ओछी मानसिकता को प्रदर्शित करता है।
भाजपा प्रदेश कार्यसमिति के सदस्य डॉ रमेश दुबे ने कर्नाटक सरकार के फैसले को नकारात्मक बताते हुए कहा कि कानून को वापस लेना कर्नाटक की जनता के साथ छल कपट की राजनीत की है और धर्मांतरण को बढ़ावा यह दर्शाता है कि कांग्रेस सरकार लोगों का जबरदस्ती से धर्मांतरण कराना चाहती है। यह सरकार पूर्णत: हिंदू विरोधी है।
भाजपा प्रदेश कार्यसमिति के सदस्य डॉक्टर दुबे ने कहा कि कर्नाटक सरकार ने अपने कैबिनेट की बैठक के दौरान राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से जुड़े सभी अध्याय कर्नाटक के पाठ्यक्रम से बाहर करने का निर्णय लेना यह शिक्षा के विरुद्ध है। इसलिए क्योंकि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की विचारधारा बच्चों तक ना पहुंचे और शिक्षा पर भी उन्होंने कठोर आघात किया है। पाठ्यक्रम से बाहर कर देना कांग्रेस की सरकार कर्नाटक के छात्र छात्राओं के साथ भी खिलवाड़ कर रही है। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ एक गैर राजनीतिक संगठन है और देश में सभी आपदाओं में जिसके स्वयंसेवक आगे आकर जनता की सेवा करते हैं।
उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार द्वारा धर्मांतरण विरोधी कानून बनाया गया था कि लोग और समाज ऐसे धर्मांतरण से बचें और अपने जाति के प्रति जागृत रहे। भाजपा सरकार द्वारा बनाए गए कानून से कर्नाटक में धर्मांतरण की घटनाएं भी रुकी थी। सिद्धारमैया की सरकार हिंदू विरोधी होकर कर्नाटक में ऐसे कानून निरस्त करने से हिंसा भड़काने का काम कर रही है। डॉक्टर दुबे ने कहा कि धर्मांतरण विरोधी कानून वापस लेना समाज के साथ कांग्रेस सरकार धोखा कर रही है और साथ ही धर्मांतरण को बढ़ावा देकर कर्नाटक में भय का वातावरण देकर इसके द्वारा अंजाम दिया जा रहा है। मुख्यमंत्री सिद्धारमैया अपनी हिटलर शाही ना चलाते हुए अच्छी सी योजनाएं बनाकर और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली भारत सरकार की योजनाओं को जन जन तक पहुंचाने का काम करें, ताकि कर्नाटक की जनता को उनका लाभ मिले।